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कोरिया समाचार

अधिकार समझ कर ले योजनाओ का लाभ: संसदीय सचिव श्री राजवाड़े।

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चिरमी जन समस्या निवारण शिविर में 67 आवेदन मौके पर ही हुए निराकृत

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किसानो को स्प्रेयर पुमप, वन्धिकार के पट्टे व निःशुल्क बीज मिनीकिट का वितरण

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प्राकृतिक आपदा पीडितो को मिली 3.27 लाख रूपए की रहत राशी.

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संसदीय सचिव श्री राजवाड़े जी ने प्राथमिक स्वस्थ्य केंद्र भवन का किया लोकार्पण.

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झुमका बाँध में बाढ़ आपदा प्रबंधन का हुआ पूर्वाभास. सेना के तैरक और मछुआ समिति के सदस्यों ने बाढ़ राहत कार्य का किया संयुक्त पूर्वाभास. एस.इ.सी.एल. द्वारा गैस और अग्नि दुर्घटना की स्थिति में किये जाने वाले आपदा प्रबंधन का प्रदर्शन.

October 01, 2011

Bhalu ki Maut

कोरिया जिले में आज वन विभग के अधिकारियो की कायराना हरकत सामने आई है. बैकुंठपुर से ३० किलोमीटर दूर बरपानी गाँव में भालू को काबू न कर पाने के कारन मौत के घाट उतर दिया गया. इससे पहले भालू ने १ ग्रमीण को मौत के घाट उतरा था और ३ ग्रामीणों को गंभीर रूप से घायल कर दिया था.

वीओ- बरपानी गाँव में उस समय दहशत का माहौल तैयार हो गया जब भालू ने एक ग्रामीण को मौत के घाट उतर दिया. भालू ने ग्रामीण को मारने के बाद उसके शव को लगभग २ घंटे तक खरोंचता रहा. इस बात को देख समस्त ग्रामीण एकत्रित हो गए और उसे भागने की कोशिश की ताकि वह शव छोड़ कर के भाग जाये लेकिन भालू शव के साथ चीरफाड़ करता रहा. इस वीभत्स नज़ारे को देख कर सारे ग्रामीण भयभीत हो गए. लेकिन भालू नहीं भागा बल्कि जिन गरामनो ने उसे भागने की कोशिश की भालू ने उस पर भी हमला बोल दिया. जिसमे ३ ग्रामीण और गंभीर रूप से घायल हो गए. जिन्हें तत्काल रूप से जिला चिकित्सालय बैकुंठपुर इलाज के लिए रिफर कर दिया गया.

इस बीच वन विभाग का अमला भी बरपानी गाँव पहुँच गया. और पड़ाके फोड़ कर भालू को भागने की किशिश की. लेकिन भालू तस से मस नहीं हुआ. भालू को भागने के लिए वन विभाग के अधिकारीयों ने हवाई फायर भी किये. लेकिन फिर भी भालू नहीं भगा. इस बात से तंग हो कर वन विभाग के अधिकारीयों का आदेश प् कर पुलिस वालो को जान मारने का आदेश दिया गया. जिसमे पुलिस वालिओने गोली चला कर भालू की जान ले ली. गोली लगते ही भालू को तो मौत हो गयी. लेकिन इस बात को मीडिया के सामने नहीं लेन दिया गया. बल्कि मीडिया को भ्रमित कर यहाँ बताया गया की ग्रामीणों ने भालू को मार डाला. इस बात की पोल तब खुली जब मीडिया कर्मियों ने भालू पर चोट के निशान देखे ही नहीं भालू पर चोट के निशान के बजाये गोली का निशान था और उसके शरीर से खून बह रहा था. इस बात को जब मीडिया ने अधिकारीयों से पूछा तो अधिकारी पहले तो टाल मटोल करने लगे लेकिन अंततः उन्हें स्वीकारना पड़ा कि भालू की मौत गोली लगने से हुई और उच्चाधिकारियों से आदेश लेकर ही भालू पर गोली चलायी गयी. अधिकारीयों का ये भी कहना था की भालू काबू में नहीं आ रहा था और वह शव को छोड़ कर जा ही नहीं रहा था मजबूरन हमे गोली चलानी पड़ी.

वनविभाग के इस कायराना हरकत से भालू की तो मौत हो गयी लेकिन अगर विभाग के अधिकारी चाहते तो भालू को बेहोशी का इंजेक्सन लगा कर उसे काबू में पाया जा सकता था. पर वन विभाग ने इस प्रकार का कोई प्रयत्न नहीं किया. और आसान रास्ता देख भालू को ही समाप्त कर दिया. हम आपको बता दे जिस भालू की मौत हुई वह मादा भालू थी. मादा भालू की मौत ने यह सवाल खड़ा कर दिया है क्या इंसान और जानवर में कोई फर्क नहीं है. या वनविभाग के अधिकारीयों ने जल्दबाजी में कोई गलत फैसला तो नहीं ले लिया.

(सहारा समय)

September 26, 2011

Regional Hospital Me Ban Medicines

चिरमिरी के एस इ सी एल रीजनल अस्पताल में लाखो की प्रतिबंधित दवाइया पायी गयी है ये खुलासा तब हुआ जब एस डी एम ने छापा मारा.

भारत सरकार के राजपत्र में पूर्ण रूपेण प्रतिबंधित दवाइया एस इ सी एल के रीजनल अस्पताल चिरमिरी में मरीजो को दी जा रही थी. जब इस बात की भनक एस डी एम चिरमिरी को लगी तो उन्होंने तत्काल टीम बना कर अस्पताल में छापा मारा. छापा मर कर उन्होंने अस्पताल से एक लाख टेबलेट और सैकड़ो की संख्या में सिरप की बोतले जब्त की. इन दवाइयों को एंटी बायोटिक व सर्दी जुखाम में अस्पताल प्रबंधन द्वारा मरीजो को डी जाती थी लेकिन इन दवाइयों के लगातार सेवन से सेहत में दुस्प्रभाव परिलक्षित होता है. इसलिए इसे भारत सरकार द्वारा प्रतिबंधित किया गया था. लेकिन सवाल यह उठता है क्जब यह दवाइया प्रतिबंधित थी तो अस्पताल में कैसे पहुंची. इन दवाओ की कीमत अंतर्राज्जीय बाज़ार में लाखो में आंकी जा रही है.

हांलाकि एस इ सी एल का अस्पताल प्रबंधन कैमरे के सामने कुछ भी कहने को तैयार नहीं हुआ. लेकिन इस छापा मार कार्यवाही ने कई सवाल खड़े कर दिए हैं. जैसे से इ सी एल रीजनल अस्पताल के चिरमिरी में अगर ये दावा मौजूद है तो समूचे एस इ सी एल अस्पतालों में भी इन दवाओ का प्रयोग हो रहा होगा. इसी प्रकार अगर भारत साकार द्वारा प्रतिबन्ध लगाया गया है तो धड़ल्ले से लाखो की मात्र में दवाइयों का मिलना अधिकारियो की मिली भगत की और इशारा कर रहा है. वही दवा कंपनी के निर्माता व सप्लाई एजेंसी भी बेख़ौफ़ हो कर इसे बना कर खपा रहे हैं. इसका भांडा फोड़ होना आवश्यक है. जिस प्रकार एस डी एम चिरीमिरी ने अस्पताल में छापा मारा है कहीं न कही एस इ सी एल अधिकारीयों को संलिप्तता जाँच में सामने आ सकती है.

(सहारा समय)

September 21, 2011

Rishto Me Aag

रिश्तो की कडवाहट किसी भाई को इतना मजबूर कर देगी कि वो अपनी सगी बहन को आग के हवाले कर देगा, सुनाने में जरुरअटपटा लगेगा लेकिन इस काम को अंजाम देने वाला चिरमिरी बड़ा बाज़ार का रहने वाला राजा पटेल है उसने अपनी सगी बहन को जिन्दा जलने कि कोसिस की लेकिन कहते हैं न "जाको राखे साईया मार सके न कोई". प्रिया के साथ भी कुछ ऐसा ही हुआ ४ महीने मौत के साथ लड़ने वाली प्रिया को होश आया तो उसने भाई राजा के खिलाफ ठाणे में रिपोर्ट दर्ज कराइ.

प्रिया की ४½ साल पहले शादी हुई थी. शादी के कुछ दिनों बाद उसे एक लड़की पैदा हुई लेकिन प्रिया के पति से उसका एक साल बाद तलक हो गया. वो अपनी बच्ची को लेकर मायके आ गयी. प्रिया का भाई राजा उसकी भाभी और उसकी माँ चिरमिरी के बड़ा बाजार में रहते थे. मायके वापस आने के बाद प्रिया और उसकी भाभी में अक्सर झगड़े होते रहते थे. जिस बात को लाकर राजा अक्सर तनाव में रहता था. वह भी अपनी बहन के साथ मारपीट करता था. घटना के दिन भी प्रिया के भाई ने अपनी माँ से पैसे की मांग की. क्यों की राजा की माँ कालिरी कर्मचारी थी और उसके पास २½ लाख रुपये की जमा पूंजी थी . जिसमे अक्सर राजा की नज़र रहती थी लेकिन प्रिया की माँ ने उसे किसी मुसीबत के समय काम आने के लिए जोड़े थे लेकिन राजा की नज़र उस पर थी और घटने के दिन उसे इसी बात से चिढ कर अपनी बहन को जलाने की कोसिस की.

घटना के ४ दिन बाद ही प्रिया की माँ की मौत हो गयी जिस पर भी अभी तक रहस्य बना हुआ है वही पुलिश गिरफ्त में आया राजा पटेल अपने आप को बेगुनाह बता रहा है. फ़िलहाल प्रिया का भाई सलाखों के पीछे पहुँच गया है. और उसकी भाभी की तलाश जरी है. और पुलिस मामले की छानबीन कर रही है.

September 14, 2011

Mantri ki Dadagiri

बैकुंठपुर जनपद पंचायत के सी.इ.ओ. एम् एल वर्मा ने संसदीय सचिव भैयालाल रजवाड़े के ऊपर अपने पद का दुरूपयोग कर अपमान जनक टिपण्णी करने का आरोप लगाया है.

दिनांक १२/०९ की शाम ४:२७ मिनट की है जिसमे सी.इ.ओ एम् एल वर्मा ने भैय्लाल के द्वारा बुलवाने पर उनसे मिलने गए और सिक्षा कर्मी वर्ग ३ पर नियुक्त राजधनी यादव के बारे में पूछताछ करने लगे जवाब में की इ ओ ने बताया की राजधनी यादव को जिला पंचायत कार्यपालन अधिकारी द्वारा हटाया गया है. जिसकी जांच भी की गयी है. की.इ ओ. ने आगे बताया संसदीय सचिव द्वारा राजधनी यादव को पद से पृथक किये जाने पर वे नाराज़ थे और उनको किसी भी प्रकार की जानकारी नहीं दी गयी थी. इतना ही नहीं वहा उपस्थित जनप्रतिनिधियों के समक्ष उन्होंने गाली गलोच भी की और अनेक प्रकार का दबाव भी डाला. इस बात से दुखी हो कर के जनपद पंचायत सी-इ-ओ ने बैकुंठपुर थाने में शिकायत दर्ज करवाई.

विओ- वाही इस सम्बन्ध में जब मंत्री महोदय से संपर्क साधा गया तो उन्होंने दूरभाष पर कहा कि सी.इ.ओ द्वारा  सिक्षा कर्मी राजधनी यादव से पिछले सात महीनो से ५०००० रुपये की मांग की जा रही थी जो की गरीब परिवार से होने के कारन सी.इ.ओ की मांग पूरी न कर सका.. जिस पर अपने शासकीय पद का दुरूपयोग करते हुए सी.इ.ओ बैकुंठपुर ने उसे पद पृथक कर दिया. जिस बात के लिए मैंने उसे सब के सामने डांटा और जो भी गरीबो के साथ इस प्रकार के कृत्या करेगा तो भैयालाल रजवाड़े उसे जरुर ठीक करेगा.

इस घटना को ले कर पुलिस दुविधा में है. एक तरफ शासकीय अधिकारी और दूसरी तरफ संसदीय सचिव पुलिस चाह कर भी अभी तक कुछ नहीं कर पाई है. हालाकी पुलिस अधीक्षक अभिषेक पाठक ने बात चीत करते हुए कहा है की मामले की पूरी तरह से जांच की जाएगी और जो भी दोषी पाया जायेगा उस पर कार्यवाही की जाएगी.

September 03, 2011

Banji Bundeli Road me Baadh

दिनांक ०२/०९/२०११ की रात में हुई बरसात ने बंजी बुन्देली के लोगो को तकलीफ में दाल दिया है. बंजी बुन्देली के रस्ते में पड़ने वाले रपटे में कल रत की बरसात के बाद से पानी ने अपना जोर दिखाया है. सुबह तक रपटे में इतना पानी भरा था की लोगो को आने जाने में परेशानी का सामने करना पड़ रहा था. और आज सुबह से फिर से पानी ने वही तूल पकड़ा हुआ है. जिससे इस रस्ते का पानी कम होने के आसार दिखाई नहीं पद रहे हैं.


August 27, 2011

Laapata Vidhayak

मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने को लेकर १६ अगस्त को स्थानीय लोगो ने जिला बनाओ आन्दोलन शुरू किया था, इस समिति में कांग्रेस, भाजपा, के साथ साथ स्थानीय लोगो ने बढ़ चढ़ कर हिस्सा लिया, आन्दोलन की शुरुआत के दिन जन समुदाय को संबोधित करते हुए विधायक दीपक पटेल ने अंतिम छोर तक लड़ाई का आश्वासन दिया. लेकिन आन्दोलन के आठवे दिन 23 अगस्त को विधायक दीपक पटेल के लापता होने की खबर कांग्रेसियों ने स्थानीय थाने मनेन्द्रगढ़ में कराइ.

स्वफूर्त चल रहे इस आन्दोलन को उम्मीद की एक किरण नज़र विधायक दीपक पटेल के रूप में नज़र आई उन्होंने सुरुआती दिनों में आन्दोलन कारियों को समझाइश दी थी किसी उग्र रूप का प्रदर्शन करके हम मनेन्द्रगढ़ को जिला नहीं बना सकते. लेकिन अगर शांति प्रिय आन्दोलन जारी रहा था हमारा मनेन्द्रगढ़ जिला अवश्य बनेगा, आन्दोलन कारियों ने ठीक वैसा ही किया. मनेन्द्रगढ़ बंद, चक्का जाम, महिला मोर्चा, बच्चो की रैली, मशाल रैली और काली पट्टी लगा कर वे विरोध कर रहे थे. इसी बीच मनेन्द्रगढ़ से प्रतिनिधि मंडल रायपुर अपनी मांगो को लेकर मुख्य मंत्री डॉ. रमन सिंह से २१ अगस्त को मिलने गया जिसमे मनेन्द्रगढ़ विधायक के नेतृत्व में, भरतपुर विधायक फूल सिंह, भाजपा वरिष्ठ नेता सुदर्शन अग्रवाल, लखन श्रीवास्तव, अनिल केशरवानी, अर्चना जैसवाल, नगर पालिका अध्यक्ष धर्मेन्द्र पटवा, नगर पंचायत अध्यक्ष वीरेंदर राणा, सत्य नारायण के साथ युवा मोर्चा जिलाध्क्ष्य संजीव सिंह शामिल हुए. जब वह प्रतिनिधि मंडल रवाना हुआ तो यह भी तय किया गया की जिला बनाओ संघर्ष समिति के दो सदस्यों भी शामिल किया किये जायेंगे. और उन्हें मुख्या मंत्री से मिलने के लिए साथ ले जायेंगे लेकिन एन वक्त पर सिर्फ भाजपा पदाधिकारी व भाजपा विधायक ही रवाना हुए, जिससे आन्दोलन कारियों को अविश्वास हुआ क्यों की जिन भाजपा नेताओ एवं विधायक को ले जाया जा रहा था उन्होंने वादा किया था कि कुछ भी हो जाये लेकिन वो मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने की मांग हो प्रभावी रूप से रखेंगे और अगर मुख्य मंत्री नहीं माने तो वे सभी अपना इस्तीफ़ा मुख्य मंत्री के टेबल में पर रख आयेंगे.

२२ अगस्त को प्रतिनिधि मंडल मनेन्द्रगढ़ पहुंचा जनता बेसब्री से उनके आने का इन्तेजार कर रही थी शाम ४ बजे बैठक आयोजित की गयी जिसमे प्रतिनधि मंडल ने अपनी बात कही, हम आपको दस सदस्यीय प्रतिनिधि मंडल जिसके मुखिया विधायक दीपक पटेल थे वे मीटिंग में उपस्थित नहीं थे जिससे जनता काफी निराश हुई और जैसे प्रतिनिधि मंडल ने अपनी बात ख़तम की वैसे ही कांग्रेस पार्टी के लोग आग बबूला हो गए. क्योंकि जिस प्रकारकी बाते जनता से कही गयी थी उस प्रकार की कोई बात प्रतिनिधि मंडल ने नहीं की और सिर्फ आश्वाशन लेकर आ गए. जिस पर कांग्रेसियों ने फायदा उठाते हुए विधायक दीपक पटेल को वहा उपस्थित होने की बात कहते रहे, और विधायक को लाओ का नारा लगते रहे.

मामले को शांत न होते देख भाजपा जन प्रतिनिधि के सदस्य सुदर्शन अग्रवाल वहा से चले गए वाही इस नज़ारे को देख जनता मूक दर्शक बनी रही. क्योंकि जिस आन्दोलन की नीव जनता ने राखी थी वह डगमगाने लगा था, वही क्षुब्ध कांग्रेसियों ने विधायक को न पाकर उसके लापता होने की रिपोर्ट थाने में दर्ज कराइ.
मीडिया में जैसे ही बात की खबर छपी आनन् फानन में भाजपाइयो ने एक बैठक आहूत की जिसमे उन्होंने कांग्रेसियों की मानसिकता को छोटा बताया.

जिला बनाओ संघर्ष समिति के इस आन्दोलन में विधायक के लापता होने की खबर जसी ही प्रकाशित हुई आन्दोलन बिखर गया. क्योंकि जिस सोच से यह आन्दोलन शुरू किया गया था वो सोच ही दूषित निकली. जनता दो चक्कों के पातो में पिस कर रह गयी. और एक तरफ भाजपाई कांग्रेसियों पर आरोप लगते हैं और दूसरी तरफ कांग्रेसी भाजपाइयो पर निशाना साधते रहते हैं लेकिन दोनों ही सूरतो में मनेन्द्रगढ़ की जनता पिसती नजर आई वही स्वार्थ की राजनीति से उठकर अगर मनेन्द्रगढ़ के हित के बारे में नेताओ ने सोचा होता तो शायद यह आन्दोलन अन्ना हजारे के जैसे विशाल रूप लेता लेकिन राजनीति हमेशा अपना स्वार्थ देखती है.

August 22, 2011

Kabad

मनेन्द्रगढ़ पुलिस ने एक ट्रक कबाड़ जब्त किया, बताया जाता है. की उक्त ट्रक भाजपा नेता की है, और पुलिस अभी विवेचना कर रही है कि यह कबाड़ किसका था, और किसे भेजा जा रहा था. फ़िलहाल पुलिस ने ड्राईवर को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है.

शहर में इन दिनों अवैध धंधो का काम जोरो से चल रहा है कबाड़ हो या सट्टा या फिर जुआं जैसे सभी धंधो को स्थानीय नेताओ की पनाह पर संचालित किया जा रहा है. पूर्वे में शहर में जिस कबाड़ी का व्यवसाय फलफूल रहा था उस पर कतिपय नेताओ की मेहरबानी थी, जिससे वह संचालित हो रहा था और भाजपा के संगठन में बदलाव के बाद इस कबाड़ी पर दो चार बार कार्यवाही की गयी, और उसके बाद फिर से आज एक कार्यवाही की गयी. सूत्रों के अनुसार यह कार्यवाही पुराने कबाड़ी के इशारे पर की गयी, हैरानी वाली बात यह है कि जिस ट्रक में कबाड़ लड़ा हुआ था. भाजयुमो के मंडल अध्यक्ष अरविन्द गुप्ता की बताई जा रही है जिस पर पुलिश भी कुछ बोलने से कतरा रही है.

भले ही पुलिस कुछ न बोले लेकिन परदे के पीछे की कहानी सभी जानते हैं. जरुरत है इन धंधो पर कठोरता से कार्यवाही करने की ताकि जितने भी अवैध्य धंधे चल रहे हैं उन पर अंकुश लगाया जा सके.



(सहारा समय)

August 20, 2011

Mashal Raili

मनेन्द्रगढ़ को जिला नहीं बनाये जाने का मामला अब गर्माता जा रहा है. स्वंत्रता दिवस पर मुख्य मंत्री रमन सिंह द्वारा घोषित नए ९ जिलो की सूची में मनेन्द्रगढ़ नाम नहीं होने से लोग सड़को पर उतर आये हैं. जिला बनाओ संघर्ष समिति के बैनर तले जिला नहीं जाने के विरोध में ६ दिनों से लगातार कई तरह से प्रदर्शन किये जा रहे हैं. प्रदर्शन ६ वे दिन आज शाम को लोगो ने सड़क में उतर कर मशाल रैली निकली व जिला बनाने की मांग का पुरजोर समर्थन किया. विवेकानंद चौक से प्रारंभ हो कर रैली प्रारंभ हो कर तहसील तक गयी. और वहां मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने की मांग को लेकर प्रदर्शन किया. मशाल रैली में बड़ी संख्या में नागरिक लोग शामिल हुए. १५ अगस्त से प्रारम्भ इस आन्दोलन में अब तक चक्का जम, महा बंद, शासकीय कार्यालयों को बंद kar, मुस्लिम समाज की रैली,  महिलाओ की रैली, स्कूली बच्चो की रैली के बाद अब मशाल रैली निकल कर प्रदर्शन किया जा रहा है. इसी चरणबद्ध आन्दोलन में मनेन्द्रगढ़ की सबसे पुराणी जिला बनाने की मांग को लेकर कल नगर में सद्बुद्धि यज्ञ का आयोजन किया जा रहा है.



(सहारा समय)

Schooli bachcho ki Vishal Raili

मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने के समर्थन में आज ६वे दिन स्कूली बच्चो ने विशाल रैली निकली और रमन सिंह को जगाने की कोसिस की

आन्दोलन के ६वे दिन लगभग ५००० से अधिक स्कूली बच्चो ने विशाल रैली निकली इस रैली में सभी स्कूली बच्चो ने सहभागिता दर्ज कराइ. स्कूली बच्चो की एक ही मांग थी कि मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाया जाये. हम आपको बता दे कि ९ जिलो कि मुख्यमंत्रिय घोषणा के बाद आन्दोलन प्रारम्भ हुआ है. और दिन प्रतिदिन आन्दोलन ताज होता जा रहा है. जिसमे कल महिलाओं ने सहभागता दर्ज करायी और आज स्कूली बच्चो ने रैली निकली.

स्कूली बच्चो ने लगभग १८ स्कूलों के बच्चो में भाग लेकर एस डी एम् को ज्ञापन देने पहुंचे तो आर. डी. एम्. ने आन्दोलन करियो के खिलाफ कार्यवाही करने की बात कही इस बात से बिफरे आन्दोलन कारियों ने एस डी एम् के खिलाफ नारे बाजे की फिर तहसीलदार ने जन आक्रोश देखते हुए ज्ञापन लिया. प्रशासन के खिलाफ नारे बजी को देखते हुए हमने इस सन्दर्भ में नायब तहसीलदार ने बताया आज छुट्टी के दिन एस.डी.एम् कार्यालय और तहसीलदार कार्यालय बंद था इस कारन गयापन लेने में देरी हुई. 

जिला बनाने की मांग आगे किस करवट बैठेगी कि यह कह पाना मुश्किल है लेकिन आन्दोलन की धार दिन प्रतिदिन तेज़ होती जा रही है.


(सहारा समय)

August 19, 2011

Andolan ke liye Nikali Raili

मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने में दिन प्रति दिन लोगो का समर्थन बढ़ते जा रहा है. अब तक सिर्फ पुरुषो द्वारा आन्दोलन जारी था, लेकिन अब घर की महिलाये भी चूल्हा चौका छोड़ कर सड़को पर उतर आई है साथ ही मुस्लिम में समुदाय ने भी रैली निकल कर मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने में अपना समर्थन दिया.

आन्दोलन ज्यो ज्यो बढ़ता जा रहा है त्यों त्यों भावुकता से लोग आन्दोलन से जुड़ते जा रहे हैं. पहले महाबंद  चक्का जाम शैक्षणिक संसथान बंद, शासकीय कार्यालय बंद, पेट्रोल पम्प बंद, बैंक बंद, कराने के बाद, ऑटो संघ की हड़ताल के बाद, आज आन्दोलन के पांचवे दिन पर शुक्रवार की नमाज अदा करने के बाद सारे मुस्लिम भाइयों ने मस्जिद से ही रैली निकली, साथ ही रोजे की नमाज़ में डॉ. रमन सिंह को जिला बनाने की दुआ अल्लाह से की. और हजारो की संख्या में विशाल रैली बनाकर शहर के मुख्या चौराहों व सड़को से निकल कर प्रदर्शन करते हुए, तहसीलदार को जिला बनाने के सन्दर्भ में ज्ञापन सौपा. और इसके बाद मनेंद्रगंढ़ जिला बनाओ के आन्दोलन को बढ़ाते हुए साड़ी महिलाओं ने घर छोड़ कर करीब एक किलोमीटर लम्बी रैली निकल कर मुख्या मंत्री को जगाने का प्रयास किया गया. इस रैली में किसी पार्टी विशेष के लोग न हो कर सभी धर्मं और समुदाय के लोग शामिल थे. अपने गृह कार्यो को छोड़ कर महिलाओ ने जिस प्रकार डॉ. रमन सिंह को जगाने का प्रयास किया वो काबिले तारीफ़ था. इस रैली में साड़ी महिलाये जोश खरोश से लबालब थी.

आन्दोलन का ५वा दिन था और अब जिला बनाओ संघर्ष समिति ने संसद डॉ. चरण दस महंत, क्षेत्रीय विधायक दीपक पटेल और भरतपुर विधायक फूलसिंह के संरक्षण में एक टीम गठित की है जो जल्द ही मुख्य मंत्री डॉ. रमण सिंह से मिलेगी और रायपुर मिलने जाएगी. और मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने की अपनी मांग को पुख्ता तौर पर उनके समक्ष रखेगी.


(सहारा समय)

August 18, 2011

Mahaband Ka Andolan

एंकर: मनेन्द्रगढ़  को जिला बनाने की मांग अब पुरे मनेन्द्रगढ़ के साथ केल्हारी नागपुर भरतपुर झगरखंड खोंगापानी लेदरी नगर पंचायतो में भी जोर पकड़ने लगी है. जिला बनाओ संघर्ष समिति के तत्वाधान में जहाँ चरण बढ आन्दोलन जारी है वही क्षेत्र से जुडी नगर पंचायतो को कांग्रेसियों ने आज बंद करवाया.

वीओ- १६ अगस्त से आन्दोलन रत जिला बनाओ संघर्ष समिति का संघर्ष दिन प्रतिदिन तेज होता चला जा रहा है समिति के सदस्यों का मानना है की हम रमन सरकार को पहले गांधीवादी तरीके से मांग मनवाने पर अड़े हैं. और अगर फिर भी मुख्या मंत्री का दिल न पसीजा तो आन्दोलन को उग्र रूप देना पड़ेगा और इससे भी पीछे नहीं हटेंगे पहले बंद फिर चक्का जाम को सफल बनाने के बाद आज समिति के सदस्यों ने सारे बैंक सिनेमा घरो शैक्षणिक संस्थाओ पेट्रोल पम्पो के साथ-साथ सस्किया कार्यालयों को बंद करवाया. वही कुछ शासकीय कार्यालयों में आन्दोलन कारियों और पुलिश के बीच कुछ अन बन भी हुई. जिला बनाओ संघर्ष समिति का साफ़ कहना है की वे अपने विधायक दीपक पटेल की वापसी का इंतजार कर रहे हैं. उनके आने के बाद सुनिश्चित किया जायेगा की आन्दोलन कितना उग्र करना होगा. हम आपको बता दे की विधायक दीपक पटेल पारिवारिक कारणों से, गुजरात गए हुए हैं संभवतः वे २१ अगस्त तक लौटेंगे. तब तक आन्दोलन शांति पूर्ण ढंग से प्रदर्शन करेंगे आन्दोलन के अगले चरण में कल १९ अगस्त को मनेन्द्रगढ़ की समस्त महिलाये सड़को पर प्रदर्शन करेंगी वही आन्दोलन के समर्थन में ऑटो यूनियन ने भी ऑटो के पहिये थाम दिए. सुबह ९ बजे से शाम ५ बजे तक शहर में एक भी ऑटो नहीं चला. वही इनके समर्थन में नगर पंचायत खोंगापानी और नयी लेदरी के सारे व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद रखे गए.
दिनोदिन बढ़ते इस आन्दोलन के नेताओ ने मनेन्द्रगढ़ विधायक के साथ-साथ भरतपुर सोनहत के विधायक फूलसिंह का भी समर्थन प्राप्त कर लिया है. वही सांसद महंत ने भी मनेन्द्रगढ़ की मांग जायज ठहराते हुए मुख्य मंत्री रमण सिंह से मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने की मांग की जाये.


(सहारा समय)

August 17, 2011

Chakka Jam kar kiya Virodh

९ जिलो की घोषणा में मनेन्द्रगढ़ का नाम शामिल नहीं किये जाने पर मनेन्द्रगढ़ वाशियों ने विरोध प्रदर्शन करने के लिए १६ अगस्त को महा बंद का आह्वाहन किया था. और १७ अगस्त को लोग सड़को पर उतर आये. और सारे रास्तो को जाम कर दिया..

मुख्य मंत्री डॉ. रमण सिंह की घोषणा के बाद सारा मनेन्द्रगढ़ धधक उठा. मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने के लिए नगर पंचायत झगराखंड, खोंगापानी, लेदरी, नगरनिगम चिरमिरी, खडगवां जनपद,  केल्हारी, के साथ-साथ भरतपुर, जनकपुर, नागपुर, का भी समर्थन मिलने लगा है. सारे लोगो ने एक सुर में मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने की मांग का समर्थन किया है, भाजपा, कांग्रेस, समाज सेवी संगठन, श्रमिक संगठन, व्यापारिक संगठन सभी लोग खुल कर सामने आ रहे हैं. और प्रसाशन के ऊपर मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाये जाने का दबाव बनाया जा रहा है, जिला बनाओ संघर्ष समिति के बैनर तले चरण बद्ध आन्दोलन किये जाने की तैयारी की जा रही है. जिसके पहले चरण में महाबंद का सफल आयोजन किया गया. वही चक्का जाम किया गया
जिसमे मनेन्द्रगढ़ से अंबिकापुर, मनेन्द्रगढ़ से शहडोल, और मनेन्द्रगढ़ से बिलासपुर जाने वाले सरे मार्गो को अवरूद्ध कर दिया गया. NH47 में चक्का जाम की स्थिति निर्मित होने पर पुलिस ने भारी वाहनों के प्रवेश पर रोक लगा दी. वही इस चक्का जाम के समर्थन में झगराखंड नगर पंचायत के निवासियों ने भी ३ घंटे का चक्का जाम रखा. जिला बनाओ संघर्ष समिति ने आन्दोलन के अगले चरण में समस्त शासकीय कार्यालयों, सिनेमा घरो, पेट्रोल पम्पो, एवं शैक्षणिक संस्थाओं को बंद रखने का आह्वाहन किया है. प्रसाशन ने किसी भी अप्रिय घटना से निपटने के लिए, पूरी तैयारी कर ली है और भारी पुलिश बल शहर के चप्पे चप्पे में तैनात कर दिया गया है. मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने की मुहीम में महिलाये भी पीछे नहीं है, एक तरफ जहाँ पेंड्रा में रेनू जोगी ने कमान संभाली है तो वही मनेन्द्रगढ़ में भाजपा नेत्री अर्चना जैसवाल ने मोर्चा संभाला है

आन्दोलन कारियों की मांग है कि मनेन्द्रगढ़ से छोटे नगरो को जिले में शामिल किया गया है तो मनेन्द्रगढ़ को भी शामिल किया जा सकता है. बहरहाल अभी तक आन्दोलन शांतिप्रिय ढंग से चल रहा है. और मुख्य मंत्री डॉ. रमण सिंह की सरकार पर दबाव बनाये जाने की कोसिसे की जा रही है वाही राजनैतिक पार्टियों के नेता भी अपने अपने स्तर पर जिला बनाने की संभावनाओ को तलाश रहे हैं. हांलाकि यह आन्दोलन कितना लम्बा होगा. यह कह पाना मुश्किल है. लेकिन यहाँ की जनता इस बार आर पार की लड़ाई के मूड में है.

Nadi Me Baha Yuvak Lash mili

15 अगस्त की रात में डॉ. नियोगी नरसिंह होम के पास हसिया नदी पर बने रपटे में सतीश नाम का एक युवक ने नदी पार करते समाये नदी के तेज बहाव के साथ बह गया. नदी में रपटे से ऊपर करीब ३ फिट पानी बह रहा था. जिस पर सतीश नाम का युवक अपनी मोटर साइकिल ले कर जाने की कोसिस कर रहा था कि अचानक बीच में उसकी गाड़ी बंद हो गयी और पानी के तेज बहाव में वह बहता चला गया. उसके साथ में उसका एक दोस्त भी था जो अपनी जान बचाने में सफल हो गया था.

 दुसरे दिन सुबह रेस्क्यू टीम की छान बीन में युवक की लाश अस्पताल के पीछे चट्टानों में फसी मिली. बताया जाता है कि युवक की शर्ट नहीं थी और नाक से खून निकल रहा था. युवक के परिवार वाले बहुत ही दुखी थे.


August 16, 2011

Jila Banao Andolan


१५ अगस्त को ९ जिलो की घोषणा के साथ ही मनेन्द्रगढ़ में विरोध की लहर दौड़ गयी. यहाँ की जनता और जनप्रतिनिधयों को पूरा विश्वास था कि नवीन जिलो की घोषणा होगी तो उसमे मनेन्द्रगढ़ का नाम अवश्य शामिल होगा. लेकिन एक बार फिर मनेन्द्रगढ़ की जनता के साथ सौतेला व्यव्हार किया गया.

मुख्य मंत्री डॉ. रमन सिंह ने ९ नवीन राजश्व जिलो की घोषणा की जिसमे मनेन्द्रगढ़ का नाम शामिल नहीं किया गया जबकि विधान सभा चुनावो के पूर्व भाजपा के मेंनफेस्टो में मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाया जाना. शामिल था, विधानसभा चुनाव पूर्व मुख्य मंत्री रमन सिंह ने कोरिया की जनता को अपने उदबोधन में कहा था अगर आप मुझे तीनी विधानसभाओ में भाजपा को जिताते है तो मै कोरिया जिले को गोद ले लूँगा. और यहाँ पर विकास की गंगा बहेगी. लेकिन आज जारी हुई जिले की सूचियों में मनेन्द्रगढ़ का नाम शामिल नहीं था.जिससे मनेन्द्रगढ़ वासी खुद को ठगा हुआ महसूस कर रहे हैं. जैसे ही ये खबर नगर में फैली सारे जनप्रतिनिधि  एकत्रित  हो  गए  और एक मंच बना कर मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने का संकल्प लिया जिसमे भाजपा, कांग्रेस, जनता दल, के साथ साथ  समस्त  व्यापारी  संगठनो ने भी सहभागिता ली और सभी लोग एकत्रित हो कर रैली निकल कर एस.डी.एम् को ज्ञापन सौपा.
मनेन्द्रगढ़ को जिला बनाने में सभी दलों के लोग एक मंच पर नज़र आये देखना यह होगा की यह पहल कितनी कारगर सिद्ध होती है. और यह आन्दोलन कितना उग्र रूप धारण करेगा यह कह पाना मुश्किल है.


(सहारा समय)

August 02, 2011

Nayab Tahseeldar Par Rishwat Ka Mamla

कोरिया के मनेन्द्रगढ़ तहसील में नायब तहसीलदार द्वारा जाती प्रमाण पत्र बनाने के नाम पर रिश्वत मांगने का मामला सामने आया है. शिकायतकर्ताओ का कहना है कि जाती प्रमाण पत्र बनाने के नाम पर नायब तहसीलदार व उनके बाबुओ द्वारा 700 से 1000 रुपये की मांग की जा रही है. इस बात की शिकायत को ले कर के ग्रामीण युवाओ द्वारा मनेन्द्रगढ़ थाना व एस डी एम् कार्यालय में शिकायत दर्ज करायी गयी है.


कुंजाराम लोहारी गाँव का रहने वाला है. जिसे स्थानीय स्वस्थ्य केंद्र में नौकरी भी मिल गयी है. लेकिन उस नौकरी को पाने के लिए कुछ जरुरी दस्तावेज कार्यालय में जमा करना है. कुंजाराम ने समस्त दस्तावेज एकत्रित कर लिया है लेकिन जाती प्रमाण पत्र के लिए वह २० दिन से तहसील कार्यालय के चक्कर काट रहा है. कुंजाराम से प्रमाण पत्र बनाने के नाम पर नायब तहसीलदार द्वारा रुपये मांगे जा रहे हैं. इस बात का विरोध करते हुए कुंजाराम ने स्थानीय एस डी एम् एवं पुलिस थाने में शिकायत दर्ज करायी है. 

कुंजाराम अकेला ऐसा शख्स नहीं है इसकी बहादुरी को देखते हुए और भी कई युवको ने नायब तहसीलदार के खिलाफ शिकायत दर्ज करने का साहस जुटाया है. थाना परिसर में टहलते हुए ये युवक जाती प्रमाण पत्र की वजह से कॉलेज में अपना एड्मिसन नहीं करवा पाए. इनमे से कुछ लोग १५-२० दिन से भटक रहे हैं तो कुछ लोग प्रमाण पत्र बनवाने के लिए साल भर तहसील के चक्कर काट रहे हैं. हम आपको बता दे कि ये सारे ग्रामीण दूरस्थ वनांचलो से सम्बंधित है तथा इन्हें मनेन्द्रगढ़ थाने जाने में काफी परेशानी होती है. राम कुर्रे और बल्लू सिंह जो की दर्री टोला के निवासी है, उन्हें साल भर से प्रमाण पत्र के लिए घुमाया जा रहा है. आपको यह जान कर आश्चर्य होगा कि अधिकारीयों कि पैसे भूख इतनी बढ़ गयी है कि वो किसी अपंग आदमी के ऊपर भी तरस नहीं खाते हैं. सागर सिंह जो कि ग्राम सेमरा का निवासी है उसने सहारा समय को बताया कि १००० रुपये देने के बाद कैसे खुद अपना प्रमाण पत्र अपने हाथो से जारी किया,

सागर ने जब देखा कि नायब तहसीलदार के खिलाफ सभी लोग एकजुट हो रहे हैं. तो उसे भी साहस आ गया वह भी थाने में शिकायत दर्ज करने पहुँच गया. इस सम्बन्ध में जब एस डी एम् से बात कि गयी तो उन्होंने बताया कि शिकायत हमे प्राप्त हो चुकी है और हमने कार्यवाही के आदेश दे दिए हैं. वाही इस बात से प्रभारी तहसील पूरी तरह अनभिज्ञ नज़र आये.



फाविओ- इन शिकायतों के बारे में जब हमने मनेन्द्रगढ़ पुलिस से जानकारी चाही तो विवेचना अधिकारी ने यह कह कर टाल दिया कि मामले कि विवेचना की जाएगी एवं तथ्य उजागर होने के बाद बताया जायेगा. वही इस सम्बन्ध में हमने नायब तहसीलदार का पक्ष भी जानना चाहा तो वो ऑफिस में मौजूद नहीं थे. जाती, निवास, व आय प्रमाण पत्रों को दलालों ने व्यवसाय बना रखा है. इसी वजह से आम आदमी से अधिकारी मुह खोल कर पैसा मांगते हैं. देखना यह होगा कि उक्त अधिकारी के खिलाफ प्रशासन शिकायत मिलने के बाद क्या कार्यवाही करता है.

Manendragarh ki Sabse Badi Aag

मनेन्द्रगढ़ के फौवारा चौक के पास मनेन्द्रगढ़ की सबसे पुरानी किराना दुकान भोला प्रसाद किशोरीलाल जी की दूकान में सोर्ट सर्किट से आग लगने के कारण किराना व्यवसायी को लाखो का नुकसान हो गया. दुकान पूरी तरह से जल कर खाक हो चुकी है. जब से आग का पता चल है स्थानीय नागरिको तथा पड़ोसियों द्वारा आग को बुझाने का आग पर काबू पाने की कोसिस की जा रही है.

सुबह लगभग ५:३० बजे जब एक जोरदार धमाके के साथ दुकान का शटर बाहर फेकाया, तब फौवारा चौक के लोगो को पता चला की किराना दुकान में भीसन आग लगी है. दुकान के मालिक का निवास दूसरी जगह होने के कारन किसी जान को नुक्सान नहीं पहुंचा. वही दूसरी ओर दुकान में रखा हुआ लगभग २५ लाख से ऊपर का राशन का सामन जल कर पूणर्तः खाक हो गया. जब स्थानीय लोगो को आग का पता चल तो उन्होंने सबसे पहले पुलिस थाने फ़ोन किया उसके बाद दमकल विभाग को इसकी सूचना दी गयी परन्तु दमकल विभाग के एक घंटे बाद पहुँचाने के कारन आग अपना विकराल रूप ले चुकी थी और दूकान में रखे सारे सामन को खाक कर चुकी थी. और अब यह आग पड़ोस के दुकानों तक धीरे धीरे कर के पहुँच रही थी. अगल बगल के घरो में भी इसका खासा प्रभाव देखने को मिल रहा है. इसके बाद दमकल विभाग के द्वारा आग बुझाने का कार्य किया जा रहा है.

आग के लगने का कारन सोर्ट सर्किट माना जा रहा है. इस जगह बिजली के तारो का जाल ऐसे फैला हुआ है कि कोई भी दुर्घटना होना आम बात लगती है. अगर बिजली विभाग इस ओर पहले ही ध्यान दे दिया होता तो शायद यह दुर्घटना होने से बच जाती. इससे बिजली विभाग कि लचर व्यवस्था उजागर होती है वही दमकल विभाग भी अगर मौके पर सही समय पर पहुँच जाता तो निश्चित रूप से आग पर काबू पा कर नुक्सान को कम किया जा सकता था. अब देखना यह होगा कि इस दुर्घटना के बाद बिजली विभाग और दमकल विभाग कोई सबक लेती है या अपना वही रवैया दिखाती है.

फ़िलहाल ताज़ा जानकारी के आने तक यहाँ पता लगा है की आग पर काबू प् लिया गया है. और अब यह पता लगाना मुश्किल होगा कि व्यापारी को कितने कि हानी हुई है.


(सहारा समय)

August 01, 2011

1 Mahine Me 2 Lashe

कोरिया जिले में दिनों दिन बढ़ रहे अपराध के ग्राफ से पुलिश के माथे में चिंता की लकीरे बढ़ने लगी है. आये दिन चोरी, चैन स्नेचिंग का मामला सुनाई दे रहे थे, लेकिन अब जिले में हो रही हत्याए परेशानी का सबब बन गयी है.

४ जुलाई २०११ को जिले के मनेन्द्रगढ़ थाना के अंतर्गत सिरोली ग्राम में सरकती लाश से पूरा मनेन्द्रगढ़ सिहर उठा था, ग्राम सिरोली में सरकटी लाश को देख कर पुलिश के सामने भी कई प्रश्न खड़े हो गए थे, पुलिश अभी इस मामले की छानबीन कर ही रही थी की केल्हारी थाना क्षेत्र में एक और सर कटी लाश ने पुलिश की नींद उड़ा दी. ४ जुलाई की घटना को एक माह भी नहीं बिता था की २९ जुलाई को इस लाश ने फिर से पुलिश महकमे के ऊपर सवाल खड़े कर दिए, हालाँकि पुलिश ने इस बार फोरेंसिक एक्सपर्ट को भी साथ ले लिया लेकिन फिर भी शव का सर पुलिश नहीं खोज पायी. लेकिन जिस करता से हत्या की गयी थी जिस पर पुलिश का कहना था की शव को यहाँ प्लांट किया गया है.
माह भर में दूसरी हत्या वो भी पिछले ही तरीके से, इससे यह प्रतीत होता है कि जिसने भी यह हत्या कि है योजना बढ तरीके से कि है. फिर फोरेंसिक एक्सपर्ट कहना है कि पोस्ट मार्टम से कोई खुलासे हो सकते हैं.

हांलाकि पुलिश कुछ भी कहे लेकिन माह में दूसरी बार हत्या पुलिश कि कार्य प्रणाली को संदेहों के घेरे में खड़ा कर रही है, पहली हत्या कि गुत्थी अभी तक सुलझ नहीं पाई और दूसरी हत्या फिर हो गयी. पहली हत्या पुरुष कि थी इस बार महिला कि है. वो भी नाबालिग. देखना होगा पुलिश इन दोनों हत्याओ कि गुत्थी कब तक सुलझा पाती है.

PMT Topper

पिछले दिनों छ.ग. पी एम् टी का रिजल्ट घोषित हुआ जिसमे इस परीक्षा परिणाम में कोरिया जिले की निधी सिंह ने प्रदेश में दूसरा स्थान प्राप्त किया है वही इमरान ने आठवा स्थान प्राप्त किया है इत्तेफाक की बात यह है की दोनों ही परीक्षार्थी कोरिया जिले के पटना में रहते हैं.

साधारण परिवार की रहने वाली निधी के पिता पेशे से BMS डॉ. है और कोरिया जिले के छोटे से कसबे पटना में प्रेक्टिस कर के अपने परिवार का भरण पोषण करते हैं .डॉ. एम् एन सिंह ने बताया की उनकी बच्ची निधी बचपन से ही पढने में होसियार थी अपनी सुरुआती पढाई निधी ने पटना में ही की फिर उसकी पढाई क्षमता को देखते हुए उनके पिता ने भिलाई कोचिंग के लिए भेज दिया. निधी ने १० वीमें ९०% पा कर एवं १२वि में ९१% पा कर अपने माता पिता का नाम रोशन किया. निधी के पिता को विश्वास था कि उनकी पुत्री एक न एक दिन मेडिकल परीक्षा में उनका नाम रोशन करेगी. अपनी पुत्री को छ. ग. में दूसरा स्थान पा कर देख कर उनकी माँ मनोरमा सिंह भी बहुत खुश है उनसे बात करते हुए हमे पता चल कि निधी २ बार पहले भी परीक्षा दे चुकी है किन्तु उन्हें सफलता हाथ नहीं लगी थी. तीसरी बार में निधी को सफलता मिली. कोचिंग इंस्टीट्युट में होने वाले आल इंडिया टेस्ट में भी वो हमेसा अव्वल आती थी और उन्होंने कई अवार्ड भी इन प्रतियोगिताओ में जीते हैं.

निधी के साथ ही पटना के इमरान ने PMT में आठवा स्थान प्राप्त किया है. हलाकि इमरान भी चार बार पूर्व में परिक्षाये दे चूका है और ५वि बार में उसने सफलता हासिल कि है इस परिणाम से इमरान के परिवार वाले और दोस्तों में ख़ुशी की लहर दौड़ गयी है. खुस इमरान को भी यकीं नहीं हो रहा है की वो टॉप १० में सामिल हो गए है.  उक्त दोनों उपलब्धियों से जिले वासियों को भी गर्व है.


(सहारा समय)

Niyam Ke Viruddh Sharab Dukan

सरकारी नियम बनाये जाते हैं सरकार को विश्वास कायम रखने के लिए लेकिन नियमो को सरकारी कर्मचारी ही घटा बढ़ा देते हैं. जिससे जनता में अविश्वास पैदा हो जाता है. और मजबूरन सरकारी नियमो का पालन करने जनता को आगे आना पड़ता है.

आबकारी एक्ट के तहत कोई भी शराब दुकान शैक्षणिक संसथान, मंदिर, आश्रम या फिर ऐसी जगह नहीं होनी चाहिए जिससे आम जीवन पर दुष्प्रभाव पड़े. इस नियम का पालन कठोरता से करने हेतु आबकारी में प्रावधान है और इसका पालन न करने पर शराब लाइसेंसी की लाइसेंस तक रद्द करने का प्रावधान है परन्तु क्या फर्क पड़ता है जब आबकारी अधिकारी की प्रत्यक्ष रूप से मजूरी हो तब लाख जनता आन्दोलन या शिकयत करे. ऐसे नियमो की धज्जिया उड़ने में देर नहीं लगती है समूचे कोरिया जिले में सबसे महंगा ठेका इस वर्ष मनेन्द्रगढ़ का हुआ है शुरुआत से यह शराब ठेका विवादों में घिरा रहा है कभी प्रिंट रेट से महँगी शराब बेचना तो कभी खुले आम ठेकेदारों से स्थानीय होटलों में शराब बिकवाना. ताजा विवाद इस शराब दुकान का कन्या विद्यालय के महज १२८ फिर की दूरी का मामला सामने आया है शिकायत करता संतोष गुप्ता की माने तो आबकारी एक्ट के अनुसार १५० फिट के दायरे में किसी भी शैक्षणिक संसथान, मंदिर, अस्पताल, बस सतिंद, धरमशाला, आदि, होना चाहिए, परन्तु मनेन्द्रगढ़ में संचालित विदेशी शराब दुकान एवं देशी शराब दुकान दोनों नियम के विरुद्ध चल रही है.

शिकायतकर्ता की माने तो मनेन्द्रगढ़ में देशी एवं विदेशी मदिरा दुकान नियम विरुद्ध चल रही है इस सम्बन्ध में जब आबकारी विभाग के अधिकारीयों से चर्चा की तो वे कैमरे के सामने कुछ भी बोलने से इंकार कर दिया ज्ञात हो पूर्व में उक्त दुकानों के खिलाफ आन्दोलन एवं धरना प्रदर्शन हो चूका है लेकिन दुकान संचालको एवं आन्दोलनकारियों के बीच आबकारी अधिकारियो ने जबरदस्त मध्यस्थता भुकिमा निभाई. फलस्वरूप दुकाने यथावत रही लेकिन आन्दोलन समाप्त हो गया. इसे महज इत्तेफाक कहे या साजिश कि दो बार आन्दोलन करने के बाद भी दुकाने हट नहीं पायी अब देखना यह होगा की कि इस शिकायत पर क्या सरकार गंभीर होती है या फिर से इस मामले को दबा दिया जाता है.

(सहारा समय)

July 27, 2011

Charan Das Mahant


केंद्रीय कृषि एवं खाद्य संस्करण (राज्य मंत्री) मंत्री डॉ. चरण दस महंत का एक दिवसीय कोरिया जिला दौरा सम्पन्न हुआ. इस दौरान कांग्रेस कार्यकर्ताओ में काफी उत्साह देखने को मिला एवं जगह जगह स्वागत किया गया.

डॉ. महंत अपने तयशुदा कार्यक्रम अनुसार रविवार शाम ६ बजे खडगवा ब्लाक से अपने दौरे की शुरुआत करते हुए चिरमिरी एवं बैकुंठपुर सहित रात लगभग ११ बजे मनेन्द्रगढ़ राजस्थान भवन पहुंचे इस दौरान समस्त कार्यकर्ताओ का अपने सांसद एवं मंत्री का आतिशी स्वागत किया. मनेन्द्रगढ़ में अपने कार्यकर्ताओ को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कोरिया मेरा प्रथम विकास लक्ष्य है और मै हर संभव विकास जिले के लिए करूँगा मिडिया से रूबरू होते हुए उन्होंने कहा की "नक्सल समस्या के लिए छ.ग. सरकार दोषी है. वही गृहमंत्री अपने पद पर बने रहें लायक नहीं है" साथ ही उन्होंने डॉ. रमण सिंह की सलाह दी की "वे गृहमंत्री का पद संभाले" मनेन्द्रगढ़ में मेडिकल कॉलेज खुलने के सम्बन्ध में बताया की केमु की प्रक्रिया है उसमे देर लग सकती है लेकिन मेडिकल कॉलेज जरुर खुलेगा वही कोरिया में पॉवर प्लांट की स्थापना के जवाब में उन्होंने कहा की मनेन्द्रगढ़ विधायक या छ.ग. सरकार की तरफ से केंद्र को अब तक कोई प्रोजेक्ट बना कर नहीं भेजा गया है. जिसमे मंजूरी दी जा सके. गौरतलब है की मनेन्द्रगढ़ विधायक दीपक पटेल द्वारा यह कहकर पॉवर प्लांट के सवाल को ताला था कि केंद्र सरकार कि मंजूरी अभी तक नहीं मिल पाई है.


(जी एन एन)

July 24, 2011

Gaurav Patah Ka Ghotala

कोरिया के मनेन्द्रगढ़ नगर पालिका के अध्यक्ष पद पर २ बार काबिज हो चुकी प्रभा पटेल को ५ साल के लिए चुनाव से अयोग्य घोषित करने करने का आदेश जैसे ही आया, वैसे ही मनेन्द्रगढ़ सहित कोरिया जिले की राजनीति गर्म हो गयी.

कांग्रेस की सीट पर २ बार चुनाव जीत चुकी प्रभा पटेल की तैयारी अब तीसरी बार फिर से अध्यक्ष बनने की थी क्यों की सूत्रों के हवाले कयास लगाये जा रहे हैं की आगामी नगर पालिका चुनाव में पिछड़ा वर्ग महिला को नेतृत्व करने का मुका मिल सकता है. जो की मनेन्द्रगढ़ में पहली बार घोषित होगा. इसके पूर्व प्रभा पटेल सामान्य सीट और पिछड़ा पुरुष वर्ग में चुनाव जीत कर आई थी इस नज़र से कांग्रेस की सशक्त उम्मीदवार के रूप में अगर पिछड़ा वर्ग महिला सीट अरक्षित होती है तो प्रभा पटेल कांग्रेसियों की पहली पसंद रहेंगी और इन्हें टिकिट मिल सकती है. लेकिन नागरीय एवं प्रसाशन विभाग के २२/०७/२०११ आदेश के अनुसार प्रभा पटेल ५ साल के लिए किसी भी चुनाव के अयोग्य घोषित किया जाता है. बड़ा महत्त्वपूर्ण माना जा रहा है.

प्रभा पटेल को गौरव पथ निर्माण मामले में भ्रष्टाचार में संलिप्त बताते हुए ५ साल के लिए किसी भी चुनाव लड़ने के लिए अयोग्य घोषित किया गया है . श्रीमती प्रभा पटेल २००४-०९ के बीच अध्यक्षा रहते हुए गौरव पथ का निर्माण कराया था जिसके निर्माण लागत लगभग ८० लाख रुपये थी. उक्त निर्माण कार्य में सड़क कि गुणवत्ता नाप जोख तथा भू अभिलेखों में छेड़छाड़ मानते हुए राज्य शासन ने प्रथम चरण में ये आदेश जारी किया है, वही इस आदेश कि गाज तत्कालीन CMO मनोज सिंह जो वर्तमान में दुर्ग में पदस्थ है उन पर भी गिरने कि पूरी सम्भावना है. वही तत्कालीन इंजिनियर शेखर साहू पर भी यह गाज निश्चित रूप से गिरेगी. इस मामले में जब प्रभा पटेल से बात की गयी तो उन्होंने उक्त आदेश को राजनीति से प्रेरित बताया एवं भ्रष्टचार के मामले में खुद को निर्दोष बताया.

वही दूसरी और शिकायतकर्ता श्री रमाशंकर केसरवानी ने बताया की राज्य शासन का यह आदेश भ्रष्टाचार प्रमाणित होने के बाद आया है, एवं उसके समस्त दस्तावेज प्रमाण समेत उनके पास मौजूद है. इसमें किसी भी प्रकार की राजनीति करना या कहना सरासर गलत है.

गौरव पथ में भ्रष्टाचार का यह मामला बड़ा ही दिलचस्प हो चला है. एक और जहा पूर्व नगर पालिका अध्यक्ष लपेटे में आ गयी है वही CMO और इंजिनियर पर भी गाज गिरना निश्चित है. वही प्रभा पटेल के विरोधी खेमा इस बात से खुश है की उनके सामने का काँटा अपने आप हट गया. और अब जीत उनकी मुट्ठी में है. देखना यह होगा कि प्रभा पटेल उक्त आदेश को कोर्ट में किस प्रकार चैलेन्ज करती है और पाने विरोधियो का मुह किस प्रकार बंद करती है.



July 21, 2011

Railway Track

कोरिया जिले में लगातार हो रही बारिश से २०/७ की रात बोरीडांड के जंगल में भूस्खलन हो गया है. इस स्खलन से रेल से रेल यातायात पूरी तरह बाधित हो गया है जिसमे अंबिकापुर जाने वाली एवं आने वाली कई ट्रेनों की आवाजाही प्रभावित हुई है.


रेल अधिकारीयों के मुताबिक २०/७ की रात ८ बजे भूस्खलन हुआ जिसमे बड़ा पत्थर रेल ट्रैक में जा गिरा जिससे बोरीडांड से अंबिकापुर का रेल यातायात पूरी तरह से बाधित हो गया.  बोरीडांड में घना जंगल है जिसमे पहाड़ो को काट कर रेल ट्रैक बिछाया गया. जिसमे बारिश के समय अक्सर छोटे मोटे भूस्खलन होते रहते हैं. जिसे रेल कर्मचारियों द्वारा फ़ौरन क्लिअर कर दिया जाता था. लेकिन २०/७ को एक बड़ा पहाड़ आकार का पत्थर रेल ट्रैक पर गिरा जिसकी जानकारी होते ही रेलवे रेस्क्यू टीम "पेंड्रा", 'बैकुंठपुर', 'मनेन्द्रगढ़', 'बिजुरी' घटना स्थल पर पहुँच गयी,जानकारी मिलते ही बिलासपुर शहडोल के अधिकारी भी घटना स्थल पर पहुँच गए. और काफी तेज़ी से मालवा हटाने की तयारी की गयी, घटना स्थल पर जायजा लेने ADRM भी पहुँच गए उन्होंने बताया कि इस हादसे से ४ ट्रेनों को रद्द किया गया है और २ ट्रेनों को लेट से छोड़ा गया है.


वही यात्रियों कि भी बोरीडांड स्टेशन पर देखी गयी देरी से काफी यात्रियों ने तो वापसी का रास्ता पकड़ लिया. वही एक बार रास्ता साफ़ कर जैसे ही दुर्ग अंबिकापुर ट्रेन को क्रास करवाया जा रहा था उसके ऊपर फिर से पहाड़ गिर गया. जिसमे किसी भी यात्री को चोट लगने कि जानकारी नहीं मिली है. लेकिन डिब्बे को देख कर लगता है कि पहाड़ चट्टानी नहीं थी अन्यथा डिब्बे में बैठे यात्रियों को अवश्य चोट लगती, घटना कि पुनरावृत्ति होते ही ADRM ने ट्रेन को वापसी कर दिया एवं लगभग २ बजे ट्रेन को रवाना किया गया. जिससे यात्रियों ने रहत कि सांस ली. वही ADRM के अनुसार २ दिनों में रास्ता पूर्वतया क्लिअर हो जायेगा.

(सहारा समय)

July 19, 2011

Vija Ki Anumati

कोरिया जिले का मनेन्द्रगढ़ थाना इन दिनों सुर्ख़ियों में है शहर में हो रही चोरिया और कुछ दिन पूर्व हुए मर्डर केस को पुलिश अभी सुलझा भी नही पी है की एक पाकिस्तानी नागरिक के वीजा में सील मुहर एवं दस्तखत न लगाने से थाना चर्चा में है और वही अधिकारी थानेदार के अज्ञानता को दोष दे रहे हैं.

सैयद इस्तेफाक हुसैन पाकिस्तान के कराची शहर का रहें वाला है. इसकी ससुराल मनेन्द्रगढ़ के चनावारीडांड ग्राम पंचायत में है. दिनांक १४ जून को इस्तेफाक अपने परिवार सहित भारत सरकार से  वीजा लेकर ३० दिनों की अनुमति लेकर भारत पहुंचा जिसका पासपोर्ट नं. ६८९१३३१ व वीजा नं. p/८९६३२१ था जिसके तहत इस्तेफाक को अपने अपने परिवार को लेकर ६ जुलाई को पाकिस्तान लौटना था. आप सोच रहे होंगे अगर ६ जुलाई को इस्तेफाक को पाकिस्तान लौटना था तो अब तक इस्तेफाक भारत में क्या कर रहा है. तो हम आपको बता दे की इस्तेफाक अपनी मर्जी से नही बल्कि मनेन्द्रगढ़ थाने की मेहरबानी से अब तक भारत में मौजूद है. क्योंकि नियमतः किसी भी परदेशी को अगर शहर में आवक होती है तो उसकी इंट्री थाने में करवाई जाती है. और जाते वक्त उसकी जावक भी लिखी जाती है. यह एक सार्वजनिक प्रक्रिया है जिससे हर मुसाफिर को गुजरना पड़ता है. सैयद जी के मामले में ऐसा हुआ ही नही. जब उन्होंने थानेदार से रेसिडेंटियल परमिट में स्थानीय थाने की सील व मुहर लगवानी थी जिसे दिखा कर मुनाबाऊ बोर्डर पर करना था पर मनेन्द्रगढ़ थाना प्रभारी ने थाने के रेजिस्टर में जाने की तारीख दर्ज किये बगैर और सील मुहर लगाये बिना प्रार्थी को रेसिडेंटियल परमिट वापस कर दिया जिससे उनके परिवार को बोर्डर से वापस लौटा दिया गया. और सदस्यों को कागजी कार्यवाही के लिए फिर से मनेन्द्रगढ़ आना पड़ा.

पाकिस्तानी निवासी सैयद इस्तियाक हुसैन अपनी ९ माह कि बच्ची के साथ दर दर भटक रहे हैं वही मीडिया के दखल देने के बाद पुलिश अधिकारीयों ने अपनी गलती स्वीकारी है और कहा है कि जल्द से जल्द सम्बंधित दस्तावेजो को पूर्ण कर दिया जायेगा जिससे इस्तेयाक अपने वतन वापस लौट सके.


(सहारा समय)

Dahej Pratadna

पैसे की भूख इंसान की इंसानियत का पाठ भुला देती है इसलिए कभी कभी इंसान अपना आप खो देता है और कर देता है ऐसी भूल जिससे उसे समाज में शर्मिंदा होना पड़ता है ऐसी ही एक घटना कोरिया के मनेन्द्रगढ़ में घटित हुई है.
मनेन्द्रगढ़ थाना परिसर में अपने माँ बाप से साथ कड़ी हुई यह औरत सरोज है इसका विवाह १६ मई २०११ को मनेन्द्रगढ़ के देवकुमार के साथ हुआ था. सरोज के माँ बाप की मने तो देवकुमार के माँ बाप ने अँधेरे में रख कर ये शादी की उन्होंने बताया कि वह कालिरी में कार्यरत है लेकिन सरोज और देवकुमार कि शादी के बाद हकीकत सामने आई सरोज का पति देवकुमार बेरोजगार था और तो और वह पहले भी शादी शुदा था और उसके बच्चे भी थे सरोज ने सब कुछ जानते हुए भी देवकुमार को स्वीकार कर लिया. लेकिन शादी के कुछ दिनों के बाद ही दहेज़ कि मांग कि जाने लगी सुरु में तो सरोज शांत रही लेकिन धीरे धीरे जब ससुराल पक्ष कि मांग बढ़ने लगी तो उसने थाने कि शरण ली.
सरोज शहडोल (म.प्र.) कि रहने वाली है उसके ससुराल वालो ने उसे धमकी दी अगर थाने में जाएगी तो जिन्दा जला दिया जायेगा. इस बात को उसने अपने मायके पक्ष में बताया जिस पर थाना मनेन्द्रगढ़ पुलिस ने मामला पंजीबध कर लिया है लड़के और माँ की गिरफ़्तारी हुई लेकिन उनका कहना है की सारे आरोप बेबुनियाद है.
जब तक सरोज के लगाये गंभीर आरोपों को पुलिश तब्दीश नही कर लेते तब तक देवकुमार सलाखों के पीछे नही डालते तब तक मामलो की हकीकत सामने नही आएगी.
(सहारा समय)

June 21, 2011

Bhalu Hamle se Maut


जून के पहले सप्ताह में कोरिया जिले के सीमावर्ती इलाको में जिसमे प्रमुख रूप से नयी लेदरी नगर पंचायत के लोगो को भालू ने हमले से ३ लोगो को मार डाला था और ५ लोगो को घायल कर दिया था घायलों को उपचार के लिए सरकारी अस्पताल मनेन्द्रगढ़ में भारती कराया गया था, लेकिन वन विभाग के अल अफसरों की निष्क्रियता की वजह से घायलों में ११ वर्षीया विजेंद्र की मौत हो गयी.

आपको शायद लग रहा होगा की विजेंद्र की मौत का समय आ गया और उसकी मौत हो गयी लेकिन ऐसा कुछ भी नहीं है. विजेंद्र की जान बच सकती थी लेकिन वन विभाग के उदासीन रवैये के कारण सही उपचार न होने के कारण उसकी जान चली गयी, हद तो तब हो गयी मरणोपरांत पोस्टमार्टम के लिए उसके परिजनों को ४८ घंटो का इंतजार करना पड़ा. 
दिनांक १ जून को विजेंद्र अपने दादा के साथ जंगल में लकड़ी काटने गया था की अचानक दादा पर भालू ने हमला कर दिया, दादा पर हमला देख ११ वर्षीय विजेंद्र को रहा न गया और अपने दादा को बचाने के लिए भालू से भिड गया जिसमे विजेंद्र और उसके दादा गंभीर रूप से घायल हो गए. और उन्हें उपचार हेतु सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया, हालात में सुधार न होता देख सरकारी अस्पताल प्रबंधन द्वारा सिटीस्केन के लिए विजेंद्र को बिलासपुर रिफर किया गया, जिसमे वनविभाग द्वारा १ ड्राईवर और एक गार्ड को साथ में भेजा गया लेकिन मानवता को तारतार करते हुए दोनों वनविभाग के कर्मचारियों ने बिलासपुर एम्स हॉस्पिटल के दरवाजे पर छोड़ कर वापस चले गए साथ में ५ हजार रुपये उन्हें पकड़ा दिया गया. भोले भले पंडो जाती के लोगो ने शहर की चकाचौंध कभी नहीं देखी थी. २ दिन तक हॉस्पिटल में कागज लेकर घूमते रहे. अंत में १८०० रुपये लेकर अस्पताल प्रबंधन द्वारा विजेंद्र का एक्स- रे थमा दिया गया. विजेंद्र के परिजनों के पास वापस आने के शिवाये और कोई चारा नहीं था. इसलिए उन्होंने ४००० में मार्शल बुक कर वापस मनेन्द्रगढ़ ले आये. जिसकी सूचना सरकारी अस्पताल को दी गयी और सरकारी अस्पताल प्रंधन द्वारा वनविभाग को दी गयी. लेकिन फिर भी उसके इलाज के कोई कदम नहीं उठाया गया. अंततः १३ जून की शाम विजेंद्र ने दम तोड़ दिया.

विजेंद्र के चाचा द्वारा मौत की सूचना वनविभाग को प्रबंधन को दी गयी. लेकिन लगभग ३६ घंटो तक उसका शव उनके घर ही पड़ा रहा बाद में नगर पंचायत नयी लेदरी के अध्यक्ष को जानकारी मिली तो उन्होंने अपने खर्चे से पोस्ट मार्टम हेतु शव चीरघर भेजा.

इस सम्बन्ध में वन अधिकारीयों से जब पूछा गया तो उनका कहना था विजेंद्र और उनके दादा को जंगल जाना ही नहीं था. न जाते न उनको मौत होती साथ ही रेडक्रॉस सोसाईटी द्वारा उनको दवा उपलब्ध न कराये जाने पर उन्होंने कहा की वनविभाग की कोई गुड विल नहीं है की उधारी मिल सके. जबकि पूर्व में डी. ऍफ़. ओ मनेन्द्रगढ़ द्वारा कहा गया था की घायलों को समुचित उपचार दिया जावेगा और उनकी दवाइयों के रेड क्रोस सोसाईटी को कह दिया गया है सारी दवाइयां निःशुल्क उपलब्ध होंगी. वाही रेड क्रोस सोसाईटी के संचालक से जब हमने बात की तो उनका साफ़ तौर पर कहा था की किसी भी घायल को वनविभाग द्वारा दवैया मुहैया करने की बात नहीं की गयी है. और सारे घायल प्राइवेट दवाइया ले रहे हैं.

वाही उसके दादा की हालत भी गंभीर बनी हुई है, कभी भी कोई भी प्रत्याशित घटना हो सकती है. अगर वनविभाग अपनी कुम्भ करणीय नींद से नहीं जगा तो शायद दादा की भी मौत हो सकती है. हांलाकि वनविभाग द्वारा विजेंद्र की मौत के लिए २ लाख रुपये देने की बात कही गयी है.

(सहारा समय)

June 04, 2011

Bhalu Hamla

कोरिया के मनेन्द्रगढ़ में इन दिनों भालू का आतंक फैला हुआ है पिछले ४ दिनों में मनेन्द्रगढ़ और उससे सटे सीमावर्ती म.प्र. राज्य के झीमर को लेकर भालू ने लोगो पर हमला किया. जिसमे ३ लोगो की अब तक मौत हो चुकी है और शेष ५ लोग घायल है, जिनका उपचार सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मनेन्द्रगढ़ में चल रहा है.

हलाकि वनविभाग मनेन्द्रगढ़ की नींद अब तक नहीं उडी है, जिस आदमखोर भालू को पिंजरे में होना चाहिए वो अभी भी खुले आम घूम रहा है, दिनांक ३०/०५/२०११ सुबह ५ बजे मार्निंग वाक पर गए कृष्ण गोपाल तिवारी पर भालू ने हमला किया जो की सिद्ध बाबा घाट हुआ, जिसे वनविभाग ने साधारण सी बात मानकर मुआवजा की बात कह कर मामले को रफा दफा कर दिया. इसके बाद उसने ग्रामीणों को निशाना बनाया. ०१/०६/२०११ को ठीक सुबह ५ बजे शारदा देवी व कृष्ण सिंह पर भालू ने हमला किया, जिसमे शारदा देवी की मौत हो गयी, भालू म.प्र. व मनेन्द्रगढ़ की सीमा से सटे मुख्य मार्गो व जंगलो में विचरण कर रहा था. इस बात की जानकारी होने के बाद भी वन विभाग हाथ पर हाथ धरे बैठा रहा. ०१/०६/२०११ को ही ११ बजे दोपहर भालू ने ३ लोगो पर हमला किया जिसमे धनसाय और गुलाब की मौत घटना स्थल पर ही हो गयी, रामप्रताप जान बचने में सफल हो गया.

इन घटनाओ के बाद भी भालू शांत नहीं बैठा उसने ०१/०६/२०११ को शाम को पुरानी लेदरी के सुरेन्द्र जो कि तेंदुपत्ता बीनने गया था उस पर हमला बोल दिया सुरेन्द्र के ऊपर हमला होते देख उसका पोता (८ वर्षीय) महेंद्र  टांगी लेकर भालू के पीछे दौड़ पड़ा जिससे सुरेन्द्र को छोड़ कर भालू ने महेंद्र पर हमला बोल दिया. इस वक़्त दोनों मौत से लड़ रहे हैं. और अस्पताल में भर्ती है. 
इन घटनाओ के बावजूद भालू पर नकेल कसने के लिए वनविभाग द्वारा ठोस पहल नहीं की जा रही है. लेकिन मुआवजा देने की बात कही जा रही है.

पिछले ४ दिनों में ८ हमलो में ३ लोगो ने अपने प्राण खो दिए हैं क्षेत्र में दहशत का माहौल व्याप्त है लेकिन विभाग द्वारा खुनी भालू को पकड़ने के बजाये लोगो को समझाइश की जा रही है. अब देखना होगा की भालू का अगला शिकार कौन होगा.



(सहारा समय)

May 26, 2011

Coca Cola ki Bottle me Tharmacol

जहा बहुराष्ट्रीय कंपनिया अपने प्रोडक्ट बेहतर बताती है और उन्हें बेचने के लिए बहुत से प्रचार भी करती है. जी हाँ आज हम बात कर रहे हैं ऐसे ही एक कंपनी के प्रोडक्ट की जिसका नाम है कोका कोला. पिछले दिनों भी एक ऐसे ही प्रोडक्ट मिरिंडा में फंगस आने की बात सामने आई थी और आज कोकाकोला में थर्माकोल का टुकड़ा दिखाई पड़ रहा है.

जहा तक इन कंपनियों की बाज़ार में पूरी तरह पकड़ है वही ये कम्पनीयअपने प्रोडक्ट में कोई गड़बड़ी न हो इसका ध्यान रखते हुए अपने साथ कई लोगो को इसकी जांच में लगा रखती है. पर ये अधिकारी अपनी लापरवाही के कारण कंपनी को शर्मिंदा करने से नहीं चुकते हैं.

कंपनिया करोडो रुपये लगा कर अपने प्रोडक्ट का प्रचार बड़े बड़े स्टारों से करवाती है. परन्तु इस तरह की लापरवाही से जनमानस के स्वस्थ्य के साथ खिलवाड़ करने से बाज़ भी नहीं आती है. इस भीषण गर्मी में छोटे बड़े सभी लोग इस तरह के पेय पदार्थो का सेवन करते हैं. और इस प्रकार कि चूक क्वालिटी कंट्रोल मेनेजर कि लापरवाही को उजागर करती है.

इस बारे में जब दुकानदार से पूछा गया तो उसने कुछ भी कहने से साफ़ मन कर दिया और कहा कि किसी भी प्रकार कि कार्यवाही न होने के कारण ये लापरवाहिया होती है.

  
(बंसल न्यूज़)

Manaya Gaya Jila Utsav


कोरिया जिले की तेरहवी वर्षगाँठ पर आयोजित कार्यक्रम में शिरकत करने राज्यपाल श्री शेखर दत्त जिला पंचायत सभा गृह में पहुंचे साथ ही प्रभारी मंत्री श्री अमर अग्रवाल भी कार्यक्रम में मौजूद थे. छ.ग. राज्यपाल श्री शेखर दत्त १२ बजे बैकुंठपुर पहुंचे. कार्यक्रम में कलेक्टर कोरिया द्वारा महिला गृह उद्योग द्वारा निर्माण की गयी खादय सामग्रियों का प्रस्तुति करण किया गया. जिसमे प्रमुख रूप से कोरिया पापड़, कोरिया अचार, कोरिया जूट बैग का उल्लेख था, अमर अग्रवाल प्रभारी मंत्री कोरिया ने कलेक्टर कोरिया के कार्यो की सराहना की, शेखर दत्त ने भी महिलाओ द्वारा किये जा रहे प्रयासों की प्रसंसा की. कार्यक्रम में प्रतिक चिन्ह के स्वरुप कोरिया गृह निर्माण मंडल की और निर्मित सामग्री उन्हें भेंट की गयी. वही मानस भवन में आयोजित संगोष्टी में महामहिम राज्यपाल व प्रभारी मंत्री अमर अग्रवाल ने भी भाग लिया. यहाँ जिला स्थापना दिवस में अमर अग्रवाल ने जिले वासियों को ढेर सारी बधाईया दी.और श्री शेखर दत्त ने कोरिया जिले को समृद्ध होने की बात कही.

कमियाँ
कलेक्टर कोरिया ने कार्यक्रम जिला पंचायत का सभागृह रखा था , जहाँ आम आदमी का पहुँच पाना असंभव था और जिन महिलाओ को सजा कर प्रोग्राम की शोभा बढ़ने के लिए रखा गया था उनमे से कई सो रही थी या फिर कई अपने मासूम बच्चो को लेकर परेशान थी.


May 25, 2011

Jarjar Hoti Road

मनेन्द्रगढ़ विधान सभा के अंतर्गत नगर पंचायत झगराखंड के मुख्या मार्गो की हालत इतनी जर्जर हो गयी है की वहां चालको को दुर्घटना का भय बना रहता है. पिछले दिनों भाजपा युवा मोर्चा ने एस.डी.एम को ज्ञापन भी दिया था. बावजूद इसके आज तक इस विषय पर कोई ध्यान नहीं दिया गया है.

नगर पंचायत के प्रवेश द्वार से लेकर जी.एम. ऑफिस तक रास्ता इस तरह  से ख़राब हो चुका है की वाहनों से क्या पैदल चलना भी मुश्किल हो रहा है. इस रास्ते की खराब हालत को देखते हुए नगर पंचायत झगराखंड द्वारा एस.इ.सी.एल प्रबंधन का घेराव करने की चेतावनी दी जा चुकी है. साथ ही ७ मई को २ घंटे तक सांकेतिक चक्का जाम भी किया जा चुका है. परन्तु महाप्रबंधन द्वारा इसे ठीक करवाने का आश्वासन दे दिया गया और आज इतने दिनों बाद भी सड़क की हालत जस की तस है.

सड़क की हालत देख कर साफ़ समझ में आ रहा है कि इस बरसात में इस सड़क का क्या हाल हो जायेगा और जब तक कोई बड़ा हादसा नहीं होगा तब तक एस.ई.सी.एल की अधिकारीयों के आँखों में से पट्टी नहीं उतारेगी और सड़क का जीर्णोद्धार नहीं होगा.

(बंसल न्यूज़)